दीपक मिश्रा
गुरुकुल कांगड़ी विश्वविद्यालय के इंजीनियरिंग कैंपस में संविधान दिवस के उपलक्ष्य में एक भव्य कार्यक्रम आयोजित किया गया। कार्यक्रम का शुभारंभ संकायाध्यक्ष प्रो. विपुल शर्मा ने संविधान की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए किया। उन्होंने संविधान दिवस की 75वीं वर्षगांठ के अवसर पर शुभकामनाएं देते हुए कहा, “हमारा संविधान विश्व का सबसे बड़ा लिखित दस्तावेज है और यह हमारे राष्ट्र के लिए एक प्रकाश स्तंभ के समान है। आज का दिन संविधान में निहित आदर्शों और कर्तव्यों को याद करने का है।”
इस अवसर पर डॉ. एम.एम. तिवारी ने संविधान निर्माताओं, विशेष रूप से डॉ. भीमराव आंबेडकर को नमन करते हुए कहा, “संविधान भारतीय लोकतंत्र की आत्मा है और इसकी समस्त शक्तियों का स्रोत भी है।” यांत्रिकी विभाग के प्रभारी डॉ. संजीव कुमार लांबा ने छात्रों को संविधान के मूल्यों और कर्तव्यों को जीवन में उतारने का आह्वान किया।
डॉ. प्रशांत कौशिक ने संविधान की संरचना और इसके ऐतिहासिक विकास पर प्रकाश डालते हुए बताया कि प्रारंभिक संविधान में 395 अनुच्छेद और 8 अनुसूचियां थीं, जबकि वर्तमान में इसमें 467 अनुच्छेद और 12 अनुसूचियां सम्मिलित हैं।
एनएसएस कार्यक्रम अधिकारियों डॉ. मयंक पोखरियाल और अश्वनी कुमार ने छात्रों और एनएसएस स्वयंसेवकों को संविधान में निहित कर्तव्यों और दायित्वों की शपथ दिलाई।
कार्यक्रम में डॉ. लोकेश जोशी, स्वयंसेवक आयुष, अश्वनी, आर्यवर्धन और लक्ष्मण यादव ने संविधान दिवस पर अपने विचार व्यक्त किए। इस अवसर पर विश्वविद्यालय की कुलपति प्रो. हेमलता के. और कुलसचिव प्रो. सुनील कुमार ने संकाय और एनएसएस इकाई को शुभकामनाएं
दीं।